
ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, शमी का पेड़ भगवान शिव जी का प्रतीक है . ऐसे में शमी पेड़ की पूजा करने से शिवजी की कृपा आशीर्वाद प्राप्त की जा सकती है. ज्योतिष शास्त्र के जानकारों का मानना है कि चूंकि भगवान शिव गणपति के पिता और शनि देव के गुरु हैं. इसलिए शमी की पूजा से गणेश और शनि देव भी प्रसन्न होते हैं.
भगवान श्रीराम ने भी की थी शमी की पूजा
पुराणों में भी शमी के पेड़ का वर्णन किया गया है. पौराणिक कथा के अनुसार, भगवान श्रीराम ने लंका पर विजय प्राप्त करने के लिए भगवान शिव की उपासना का साथ-साथ शमी का भी पूजन किया. इसके अलावा नवरात्रि में मां दुर्गा और विजयदशमी की पूजा में शमी की पूजा का जिक्र कई ग्रंथों में किया गया है.
ज्योतिष के अनुसार, शमी के पेड़ को घर में भी लगाया जा सकता है. यह पीपल या बरगद की तरह निषेध नहीं माना जाता है. घर में इसे किसी शनिवार या विजयादशमी के दिन लगाना शुभ माना जाता है. शमी के पेड़ को घर के पूर्व-उत्तर की दिशा में लगाना शुभ होता है. जो कि वास्तु सम्मत भी है.
शनि की पीड़ा से मुक्ति दिलाता है शमी सारे दुःखो का अंत होता है
शमी-पेड़ लगाने के कई फायदे हैं. शिव पुराण के मुताबिक शिवलिंग पर शमी के पत्ते अर्पित करने से भगवान शिव प्रसन्न होकर भक्तों की इच्छा पूरी करते हैं. इसके साथ ही भगवान गणेश, शनि देव, मां दुर्गा सहित सभी देवी-देवता प्रसन्न होकर घर में सुख-समृदधि प्रदान करते हैं.
कैसे करें शमी की पूजा |
ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, शमी के पेड़ में नियमित जल अर्पित करना शुभ होता है. इसके साथ इसके आगे दीपक जलाएं और रोजाना कम से कम एक पत्ती भगवान शिव को अर्पित करें. बिना स्नान किए या रात में इसका स्पर्श नहीं करना चाहिए मानसिक शांति घर के कलेश सभी बाधा दूर होती है शमी का मतलब शनि देव शिव जी को खुश करना है